भारतीय टेनिस को पाकिस्तान में खेलने नहीं जाने पर लगा जोर का झटका, ट्रिब्यूनल में खारिज हुई अपील

भारतीय टेनिस को पाकिस्तान में खेलने नहीं जाने पर लगा जोर का झटका, ट्रिब्यूनल में खारिज हुई अपील
भारत को डेविस कप में अब पाकिस्तान का सामना करना है.

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भारत की डेविस कप टीम ने पिछली बार 1964 में पाकिस्तान का दौरा किया था जब उसने मेजबान टीम को 4-0 से हराया था.

भारत को 2019 में भी पाकिस्तान में खेलना था तब आईटीएफ ने मुकाबले को कजाखस्तान स्थानांतरित कर दिया था.

अंतरराष्ट्रीय टेनिस महासंघ (आईटीएफ) ट्रिब्यूनल ने अखिल भारतीय टेनिस महासंघ (एआईटीए) की उस दलील को खारिज कर दिया है कि उसकी डेविस कप टीम को इस्लामाबाद में विश्व ग्रुप एक प्ले-ऑफ मुकाबले के दौरान सुरक्षा चिंताओं का सामना करना पड़ सकता है. आईटीएफ पंचाट के इस फैसले से 60 साल में किसी भारतीय टेनिस टीम के लिए पहली बार पाकिस्तान के दौरे का रास्ता साफ हो गया. भारतीय टीम अगर पाकिस्तान की यात्रा करने में विफल रहती है तो मेजबान देश को इस टाई का विजेता घोषित कर दिया जाएगा. इससे भारतीय टीम विश्व ग्रुप दो में खिसक जाएगी. भारत की डेविस कप टीम ने पिछली बार 1964 में पाकिस्तान का दौरा किया था जब उसने मेजबान टीम को 4-0 से हराया था.

एआईटीए के महासचिव अनिल धूपर ने ‘पीटीआई-भाषा’ से आईटीएफ से उनकी अपील खारिज होने की पुष्टि की. धूपर ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘मुझे पता चला है कि एआईटीए की अपील को आईटीएफ पंचाट ने खारिज कर दिया है. हम सोमवार (25 दिसंबर) को खेल मंत्रालय से संपर्क करेंगे और टीम को पाकिस्तान भेजने के मामले में मार्गदर्शन मांगेंगे.’ एआईटीए ने हाल ही में तीन-चार फरवरी (2024) को विश्व ग्रुप एक प्ले-ऑफ मुकाबले के लिए पांच सदस्यीय टीम की घोषणा की थी और कहा था कि अगर आईटीएफ उसकी अपील को खारिज कर देता है तो वह डेविस कप टीम को पाकिस्तान भेजेगा. तटस्थ स्थल के लिए एआईटीए के अनुरोध को 15 सदस्यीय डेविस कप समिति (डीसीसी) ने भी खारिज कर दिया था. जिसके बाद में राष्ट्रीय महासंघ ने आईटीएफ पंचाट का दरवाजा खटखटाया था.

ट्रिब्यूनल ने फैसले में क्या कहा

 

डीसीसी ने भी एआईटीए की दलील को खारिज करते हुए कहा था, ‘पाकिस्तान ने हाल ही में कुछ महत्वपूर्ण डेविस कप मुकाबलों की सफल मेजबानी की है, इसलिए इस बात का कोई ठोस आधार नहीं है कि पाकिस्तान भारत के खिलाफ मुकाबलों की मेजबानी उचित तरीके से नहीं कर सकता है. कानून एवं व्यवस्था बनाए रखना मेजबान राष्ट्र की जिम्मेदारी है. भारतीय टीम को निश्चिंत रहना चाहिए. उनकी यात्रा और भागीदारी के लिए आवश्यक सुरक्षा उपाय होंगे.’

 

2019 में पाकिस्तान से कजाखस्तान ट्रांसफर हुए थे मैच

 

भारत को इससे पहले 2019 में भी पाकिस्तान में खेलना था लेकिन तब आईटीएफ ने एआईटीए के अनुरोध पर मुकाबले को कजाखस्तान स्थानांतरित कर दिया था. भारत ने इसे 4-0 से जीता था. पाकिस्तान के शीर्ष खिलाड़ियों ने एआईटीए के उनके देश की यात्रा नहीं करने के फैसले के विरोध में मुकाबले से नाम वापस ले लिया था. पाकिस्तान ने नए खिलाड़ियों को मैदान में उतारा जो भारत की मजबूत टीम को टक्कर नहीं दे पाए थे. पाकिस्तान के खिलाफ आगामी मुकाबले के लिए भारत के शीर्ष खिलाड़ी सुमित नागल और शशिकुमार मुकुंद ने नाम वापस ले लिया है.

 

इस मुकाबले को जीतने वाली टीम 2024 सत्र के बाकी हिस्सों के लिए विश्व ग्रुप एक में जगह बरकरार रखने में सफल रहेगी. भारतीय टीम में रामकुमार रामनाथन, एन श्रीराम बालाजी, युकी भांबरी, निकी पूनाचा और साकेत मायनेनी को जगह दी गई है. दिग्विजय प्रताप सिंह टीम के रिजर्व खिलाड़ी है. उन्होंने सितंबर में लखनऊ में मोरक्को के खिलाफ डेब्यू किया था.

 

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