Yuzvendra Chahal : दुनियाभर के दिग्गज बल्लेबाजों को अपनी फिरकी के जाल में फंसाने वाले युजवेंद्र चहल भारतीय टीम की स्पिन गेंदबाजी के तुरुप का इक्का हैं. हवा में घूमती गेंदों के दम पर बल्लेबाजों को नचाने वाले चहल अमेरिका और वेस्ट इंडीज में होने वाले टी-20 वर्ल्ड कप 2024 में भारतीय टीम को ट्रॉफी जीताने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे. इस बार टीम इंडिया की स्पिन जोड़ी कुलचा यानि कुलदीप यादव और युजवेंद्र चहल एक साथ जलवा बिखेरेगी. आइए जानते हैं कि शतरंज की दुनिया के चालाक खिलाड़ी रहे चहल ने क्रिकेट की दुनिया में अपनी कामयाबी की बिसात कैसे बिछाई.
जन्म और परिवार
23 जुलाई 1990 को हरियाणा के जींद जिले में जन्में चहल एक मध्यमवर्गीय परिवार से आते हैं. उनके पिता केके चहल पेशे से वकील थे, तो मां सुनीता घर संभालती थी. चहल की दो बड़ी बहने ऑस्ट्रेलिया में रहती हैं. जींद के DAVC पब्लिक स्कूल में पढ़ने वाले चहल का मन पढ़ाई में कम लगता था. चहल को शतरंज के खेल से प्यार महज 7 साल की उम्र में हो गया.
शतरंज में जीती राष्ट्रीय चैंपियनशिप
चहल ने बचपन में ही शतरंज के खेल में अपनी प्रतिभा से सभी को प्रभावित किया. चहल के अद्भुत खेल के चलते लोग उन्हें चेस मास्टर भी कहने लगे. चहल सिर्फ 10 साल के थे, जब उन्होंने राष्ट्रीय स्तर पर अपने टैलेंट का लोहा मनवाया. साल 2002 में नेशनल चैंपियनशिप को जीतकर चहल शतरंज के खेल में एक कदम आगे बढ़ गए. इसके बाद उन्होंने ग्रीस में हुए जूनियर वर्ल्ड चेस चैंपियनशिप में भारत की ओर से भाग लिया. चहल ने शतरंज के अंडर 16 टूर्नामेंट में भी हिस्सा लिया.
आर्थिक तंगी के चलते चुना क्रिकेट
2006 में चहल के शतरंज करियर पर संकट आया. इस साल चहल को शतरंज खेलते हुए स्पांसर नहीं मिल रहे थे और उनपर आर्थिक संकट आ गया. इस समस्या से निपटने के लिए चहल ने शरतंज को अलिवदा कहा और क्रिकेट की दुनिया में नाम कमाने निकले. इस चैंपियन खिलाड़ी ने क्रिकेट में भी अपनी काबिलियत दिखाई और बल्लेबाजों को अपनी फिरकी के आगे बेबस कर दिया. नतीजा यह हुआ कि चहल को हरियाणा की अंडर 14 टीम में जगह मिल गई. इसके बाद चहल के क्रिकेट की उड़ान में पंख लग गए. 2009 में चहल ने मध्य प्रदेश के खिलाफ फर्स्ट क्लास क्रिकेट में डेब्यू किया. आगे चलकर चहल ने लिस्ट ए करियर की शुरुआत भी की.
आईपीएल में चहल ने रचा इतिहास
चहल को घरेलू क्रिकेट में लगातार अच्छे प्रदर्शन के चलते आईपीएल खेलने का मौका मिला. साल 2011 में मुंबई इंडियंस ने हरियाणा के इस गेंदबाज को अपने साथ जोड़ा. चहल मुंबई की ओर से 2011 में सिर्फ एक मैच ही खेल सके. साल 2014 चहल के आईपीएल करियर के लिए टर्निंग पॉइंट साबित हुआ जब उन्हें विराट कोहली की कप्तानी वाली आरसीबी की टीम में जगह मिली. चहल आरसीबी के लिए सबसे सफल गेंदबाज रहे और बेंगलुरु के लिए 139 विकेट चटकाए. साल 2022 में चहल को राजस्थान रॉयल्स ने खरीदा. आईपीएल 2024 में युजी चहल ने आईपीएल में इतिहास रच दिया. चहल आईपीएल में 200 विकेट लेने वाले पहले गेंदबाज बने. उनके नाम आईपीएल में अबतक 205 विकेट है.
टी-20 इंटरनेशनल क्रिकेट में चहल का धमाल
आरसीबी के लिए दमदार प्रदर्शन ने चहल को टीम इंडिया की जर्सी दिलाई. 18 जून 2016 को जिंबाब्वे के खिलाफ हरारे के मैदान पर चहल ने अपना टी-20 इंटरनेशनल डेब्यू किया. इसके बाद 2017 में इंग्लैंड के खिलाफ एक मैच में चहल ने 6 विकेट लेकर सनसनी मचा दी. इस प्रदर्शन ने चहल को उनका पहला प्लेयर आफ द मैच का अवॉर्ड भी दिलाया. अब तक चहल ने खेले 80 टी-20 अंतर्राष्ट्रीय मैचों में 96 विकेट अपने नाम किए हैं. इस दौरान चहल ने 8.19 की इकॉनमी से रन खर्च किए हैं. 25 रन देकर 6 विकेट चहल का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन रहा है.
चहल का दूसरा टी-20 वर्ल्ड कप
युजवेंद्र चहल दूसरी बार टी-20 वर्ल्ड कप की भारतीय टीम का हिस्सा होंगे. इससे पहले 2022 में ऑस्ट्रेलिया में खेले गए टी-20 वर्ल्ड कप में चहल टीम के साथ गए थे, हालांकि उन्हें एक भी मैच खेलने को नहीं मिला था. इस बार के वर्ल्ड कप में चहल बतौर मुख्य स्पिन गेंदबाज के रुप में टीम में हैं, तो ऐसे में वो अपनी कला के जादू से से टीम इंडिया को वर्ल्ड चैंपियन बनाने की पूरी कोशिश करेंगे.
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