बड़ा खुलासा: अस्‍पताल पहुंचने में 20 मिनट की देर हो जाती तो खतरे में पड़ सकती थी रिजवान की जान

बड़ा खुलासा: अस्‍पताल पहुंचने में 20 मिनट की देर हो जाती तो खतरे में पड़ सकती थी रिजवान की जान

नई दिल्ली। यूएई और ओमान में खेले गए आईसीसी टी20 विश्व कप में पाकिस्तान भले ही सेमीफाइनल से आगे न बढ़ सका हो लेकिन उसने भारतीयों की एक पूरानी कहावत को पलट दिया. एक समय भारतीय फैंस का कहना था कि पाकिस्तान से जीतो फिर चाहे भले ही विश्व कप भले ही हार जाओ. पाकिस्तान ने इसका उल्टा किया उसने भारत को 29 सालों में किसी आईसीसी विश्व कप में पहली बार हराकर शानदार आगाज किया. लेकिन विश्व कप ट्राफी तक नहीं पहुचं सका. इस तरह पाकिस्तान ने टी20 विश्व कप में यादगार प्रदर्शन किया और इस दौरान उनके कप्तान बाबर आजम और मोहम्मद रिजवान की सलामी जोड़ी काफी हिट रही. लेकिन ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सेमीफाइनल मैच से पहले पाकिस्तान को बड़ा झटका लगा था. जब टूर्नामेंट में कातिलाना फॉर्म में चलने वाले रिजवान को बुखार आ गया था. इसके बाद भी उन्होंने हिम्मत नहीं हारी और मैदान में बल्ले से 52 गेंदों पर शानदार 67 रनों की पारी से धमाल मचा डाला था. जिस समय को याद करते हुए अब रिजवान ने खुलासा किया और अपनी आप-बीती बताई कि कैसे वो अस्पताल के बिस्तर से उठकर क्रिकेट के मैदान तक पहुंचे.    

 

रिजवान को लेकर जो मीडिया रिपोर्ट्स सामने आई. उनके अनुसार बताया गया कि 11 नवंबर को होने वाले सेमीफाइनल मैच से पहले नौ नवंबर की रात उनके सीन में दर्द हुआ, जिससे सांस लेने में तकलीफ हो रही थी और बुखार भी था. उनका कोविड टेस्ट भी कराया गया था लेकिन ये निगेटिव आया था. इसके बाद आनन-फानन में उन्हें अस्पताल ले जाया गया था और वह आईसीयू में भी रहे थे.

 

20 मिनट की देरी पड़ सकती थी भारी 

रिजवान ने अब अपनी बीमारी के बारे में प्रेसवार्ता में कहा, 'मैं अच्छा महसूस नहीं कर रहा था. मैं अस्पताल जा रहा था और मेरा परिवार होटल में था. मैंने उनसे कहा था कि मैं नीचे होटल में ईसीजी के लिए जा रहा हूं. जब हम अस्पताल गए तो मैं सांस नहीं ले पा रहा था. डॉक्टरों ने कहा था कि मेरे दोनों ट्यूब रुक गए हैं. वह मुझे पूरी चीज नहीं बता रहे थे. फिर मैंने नर्स से पूछा कि क्या हुआ है तो उन्होंने कहा कि अगर मैं 20 मिनट और लेट हो जाता तो मेरे दोनों ट्यूब फट जाते. वह अलग-अलग के टेस्ट कर रहे थे.'

 

रिजवान ने आगे कहा, 'मुझे डॉक्टर के शब्द याद हैं. उन्होंने कहा था कि वह मुझे सेमीफाइनल खेलते हुए देखना चाहते हैं. लेकिन जब उन्होंने मुझे मेरी स्थिति बताई और कहा कि ये अच्छी नहीं है तो मैंने उनसे कहा था कि अगर मैच के बाद कुछ होता है तो मैं निराश नहीं होऊंगा क्योंकि पाकिस्तान के लिए सब कुछ कर सकता हूं. इस बात ने उनको हौसला दिया और फिर उन्होंने वो सब किया जिससे मैं ठीक हो सकता था.'

 

सेमीफाइन में ऑस्ट्रेलिया से हारा पाकिस्तान 
रिजवान के लौटने के बावजूद पाकिस्तान सेमीफाइनल में ऑस्ट्रेलिया को नहीं हरा सका और टूर्नामेंट में एक ही मैच हारने के साथ पाकिस्तान का सफर भी समाप्त हो गया. ऐसे में टीम भले ही विश्वकप न जीती हो लेकिन रिजवान ने अपने जज्बे और बल्लेबाजी से पूरी दुनिया के फैंस का दिल जीत लिया है. रिजवान के लिए यह टूर्नामेंट शानदार रहा और उन्होंने छह मैचों में 70.25 की औसत और तीन अर्धशतक की मदद से 281 रन बनाए.