भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच सिडनी में बॉर्डर गावस्कर ट्रॉफी का पांचवां और आखिरी टेस्ट खेला गया था, जहां ऑस्ट्रेलिया ने छह विकेट से जीतकर हासिल करने 3-1 से ट्रॉफी भी अपने नाम कर ली थी. ऑस्ट्रेलिया ने 10 साल बाद इस ट्रॉफी पर कब्जा किया था. सिडनी टेस्ट में एक भी पारी में स्कोर 200 के आसपास भी नहीं पहुंच पाया. भारत ने पहले बैटिंग करते हुए पहली पारी में 185 रन बनाए. जवाब में ऑस्ट्रेलिया 181 रन पर ऑलआउट हो गई.
टीम इंडिया की दूसरी पारी 157 रन पर सिमट गई थी और ऑस्ट्रेलिया को जीत के लिए 162 रन का टार्गेट मिला, जिसे मेजबान ने चार विकेट के नुकसान पर हासिल कर लिया. सिडनी में तीन दिन में ही 34 विकेट गिर गए. अब इस पिच पर सवाल खड़े हो रहे हैं. पूर्व भारतीय कप्तान दिलीप वेंगसरकर ने सिडनी क्रिकेट ग्राउंड में सीमर फ्रेंडली पिच की आलोचना की है.
आईसीसी से पूर्व कप्तान की अपील
वेंगसरकर चाहते हैं कि वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप का आयोजन करने वाली आईसीसी को टेस्ट मैचों की पिचों की जिम्मेदारी अपने हाथ में लेनी चाहिए. जैसा वो अपने ग्लोबल सफेद गेंद टूर्नामेंटों में करती है, ताकि उन फैंस के लिए “अच्छी क्वालिटी वाली टेस्ट क्रिकेट” सुनिश्चित की जा सके, जो अभी भी टेस्ट मैच देखने के लिए उमड़ते हैं, जैसा कि ऑस्ट्रेलिया में साफ था. टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार वेंगसरकर ने कहा-
सिडनी में पिच की क्वालिटी खराब थी. ठीक वैसे ही जैसे भारत में टेस्ट के लिए हम जो (टर्निंग) विकेट देते हैं, वे घटिया हैं. मुझे लगता है कि अब समय आ गया है, अगर आप अच्छी गुणवत्ता वाला क्रिकेट देखना चाहते हैं तो आपको हाईएस्ट लेवल पर अच्छी पिचें सुनिश्चित करनी होंगी. अब समय आ गया है कि ICC टेस्ट मैच की विकेटों की तैयारी पर नजर रखे. उन्हें टेस्ट से कम से कम 10 दिन पहले हर टेस्ट स्टेजिंग सेंटर पर अपने पिच स्पेशलिस्ट /क्यूरेटर को बुलाना चाहिए.
यह जरूरी है, ताकि लोगों को उनके पैसे का पूरा फ़ायदा मिले और खेल, खासतौर पर टेस्ट क्रिकेट लोकप्रिय हो. अगर आप ऐसा नहीं करेंगे तो हर देश WTC के लिए अधिकतम पॉइंट पक्के करने के लिए घटिया पिच तैयार करेगा. WTC के आयोजन का पूरा उद्देश्य ही खत्म हो जाएगा.
गावस्कर और स्मिथ ने भी पिच पर दिया बड़ा बयान
सुनील गावस्कर ने भी पिच की आलोचना की थी. वहीं स्टीव स्मिथ ने जीत के बाद कहा था कि उन्होंने अपने करियर में इतनी घास वाली सिडनी की पिच पर कभी बल्लेबाजी नहीं की थी. वेंगसरकर ने कहा कि सिडनी की पिच तेज गेंदबाजों के अनुकूल थी. ऐसे में बैटिंग मुश्किल थी. रन ना बनाने पर बल्लेबाजों की आलोचना करना आसान है, मगर सच्चाई ये है कि पिच खराब थी. पिच पर काफी घास थी. उनका है कि दुर्भाग्य से जसप्रीत बुमराह चोटिल हो गए थे, वरना ऑस्ट्रेलिया 162 रन का टारगेट हासिल नहीं कर पाया.
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