तृषा जॉली और गायत्री गोपीचंद की जोड़ी ने रविवार को सैयद मोदी इंटरनेशनल सुपर 300 टूर्नामेंट में जापान की काहो ओसावा और माई तानाबे को तीन गेम में हराकर महिला युगल का खिताब बरकरार रखा. शीर्ष वरीय भारतीय जोड़ी ने एक गेम से पिछड़ने के बाद आक्रामक खेल दिखाया और दुनिया की 35वें नंबर की जापानी जोड़ी को एक घंटे 16 मिनट तक चले रोमांचक फाइनल में 17-21, 21-13, 21-15 से शिकस्त दी. वहीं पूर्व विजेता श्रीकांत 67 मिनट तक चले रोमांचक मुकाबले में हांगकांग के विश्व नंबर 59 जेसन गुनावान से 16-21, 21-8, 20-22 से हार गए.
भारतीय जोड़ी की एक और गलती
तृषा ने कुछ तेज स्मैश लगाए, जिससे भारतीय जोड़ी बराबरी पर आ गई्. फिर ओसावा की फोरहैंड गलती ने उन्हें 8-6 से आगे कर दिया. हालांकि जापानी जोड़ी ने फिर वापसी की और ब्रेक तक थोड़ी बढ़त बना ली. तानाबे के बैकहैंड क्रॉस कोर्ट रिटर्न से गायत्री हैरान हो गई, जिसके बाद भारतीय खिलाड़ी की एक और गलती ने जापानी टीम को पांच गेम प्वाइंट दिला दिए. तृषा और गायत्री ने दो प्वाइंट बचाए, लेकिन तानाबे ने स्मैश मारकर पहला गेम जीत लिया.
भारतीय जोड़ी का दबदबा
दूसरे गेम में भारतीय जोड़ी ने लय हासिल कर ली और शानदार अंदाज में खेलते हुए 9-2 से बढ़त बना ली. हालांकि कुछ शॉट नेट में चले गए लेकिन ब्रेक तक भारतीयों की बढ़त 11-5 हो गई थी. तृषा और गायत्री ने रैलियों में दबदबा बनाए रखना जारी रखा, जिससे यह जोड़ी 17-9 से आगे हो गईं. तृषा ने फुर्ती और लय से आक्रामकता से रिटर्न दिए, जिससे भारतीय टीम 20-11 की बढ़त पर आ गई. उन्होंने दो गेम प्वाइंट गंवा दिए लेकिन फिर इस गेम को जीतकर स्कोर 1-1 से बराबर कर दिया.
ब्रेक तक छह प्वाइंट की बढ़त
तीसरे गेम में भारतीय जोड़ी ने 7-4 की बढ़त बना ली थी, लेकिन गलतफहमी की वजह से उन्हें कुछ प्वाइंट गंवाने पड़े. उन्होंने जल्द ही नियंत्रण हासिल किया और तृषा के एक शानदार नेट शॉट के बाद एक और अच्छे प्वाइंट ने उन्हें ब्रेक तक छह प्वाइंट की बढ़त दिला दी और इसके बाद विपक्षी जोड़ी पर दबाव बनाते हुए मुकाबला भी अपने नाम कर लिया.

