भारतीय तेज गेंदबाज आकाश दीप ने ऑस्ट्रेलिया दौरे पर जी-तोड़ बॉलिंग की लेकिन विकेटों के कोने में उनके पास काफी कम संख्या थी. लेकिन जिन्होंने भी उन्हें बॉल कराते देखा सबने माना कि उनके विकेट ज्यादा होने चाहिए थे. आकाश दीप को लेकिन इस बात का मलाल नहीं है. उनका कहना है कि जिस प्लान के तहत उनसे बॉल कराने को कहा गया था उन्होंने उसका पालन किया. हालांकि उन्हें लगता है कि अगर मेलबर्न टेस्ट में ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों के कैच नहीं छूटते तो सीरीज का नतीजा भारत के पक्ष में हो सकता था. भारतीय फील्डर्स ने दूसरी पारी में कैच छोड़े जिसका फायदा लेकर मेजबान टीम मैच जीतने लायक स्कोर तक पहुंचने में कामयाब रही.
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मेलबर्न टेस्ट की दूसरी पारी में भारतीय गेंदबाजों के कमाल से ऑस्ट्रेलिया ने एक समय 91 पर छह विकेट गंवा दिए थे. तब आकाश दीप की गेंद पर मार्नस लाबुशेन का एक कैच स्लिप में यशस्वी जायसवाल के पास गया था. लेकिन उन्होंने इसे टपका दिया. इसका फायदा लेकर लाबुशेन ने अर्धशतक लगाया और 70 रन की पारी खेली. बाद में ऑस्ट्रेलिया ने 234 रन बनाते हुए भारत को 340 रन का लक्ष्य दिया जिसका पीछा नहीं हो पाया.
इस बारे में आकाश दीप ने समाचार एजेंसी पीटीआई से बात करते हुए कहा, 'कोई भी जानबूझकर कैच नहीं छोड़ता है और ऐसी चीजें हो जाती हैं लेकिन मुझे थोड़ा बुरा लगा क्योंकि वह कैच पकड़ लिया जाता तो वे 130 के आसपास आउट हो जाते. हो सकता है हम तब मेलबर्न जीत जाते. सिडनी में खेलने से पहले हम 2-1 से आगे होते और ऑस्ट्रेलिया पर दबाव होता. मुझे नहीं लगता कि भारत के अलावा बाकी टीमें हालिया सालों में ऑस्ट्रेलिया को टक्कर दे पाई है.'
आकाश दीप की चोट पर क्या अपडेट है?
आकाश ऑस्ट्रेलिया दौरे पर दो टेस्ट खेले थे. इनमें चार ही विकेट मिले. सिडनी में वे पीठ में अकड़न के चलते नहीं खेल सके. अभी इसी वजह से वह खेल से दूर हैं. उन्हें नेशनल क्रिकेट एकेडमी से मंजूरी का इंतजार है. उन्होंने इस बारे में बताया, 'अभी सब ठीक है. मेरी रिकवरी सही चल रही है और मैं पिछले कुछ समय से लगातार खेल रहा था जिससे मुझे 15 दिन तक पूरी तरह से आराम करने को कहा है. मैं एनसीए की सलाह मान रहा हूं और जब वे कह देंगे तब बॉलिंग करना शुरू करूंगा.'