इशान किशन ने बांग्लादेश के खिलाफ चटगांव वनडे में रिकॉर्ड 210 रन की पारी खेलकर इतिहास बनाया. वे चौथे भारतीय हैं जिन्होंने वनडे क्रिकेट में यह कमाल किया लेकिन अभी भी टीम इंडिया में उनकी जगह पक्की नहीं है. इशान किशन भी इस बात को जानते हैं. उन्होंने भारतीय टीम में जगह के लिए कड़ी प्रतिस्पर्धा को स्वीकार करते हुए कहा कि उन्हें जो भी मौके मिलेंगे उन्हें भुनाना होगा और इस बात को वे अच्छे से जानते हैं. बांग्लादेश के खिलाफ तीसरे वनडे में इशान को रोहित शर्मा के चोटिल होने की वजह से मौका मिला. इस मौके को उन्होंने वनडे इतिहास में सबसे तेज दोहरा शतक ठोककर यादगार बना दिया.
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भारतीय टीम जनवरी में जब श्रीलंका के खिलाफ एकदिवसीय सीरीज खेलेगी तब चीजें बदल सकती हैं क्योंकि रोहित फिट होंगे और शिखर धवन भी टीम का हिस्सा हैं. इसके अलावा वनडे टीम में सीमित मौकों पर शुभमन गिल ने भी खुद को साबित किया है. इशान ने मैच के बाद संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘मुझे नहीं लगता कि इस टीम में बल्लेबाजी क्रम निश्चित है. कई बड़े खिलाड़ी अलग-अलग क्रम पर खेल रहे हैं. यह प्रदर्शन के बारे में है और मैं शिकायत नहीं कर सकता कि मैं इस स्थान पर बल्लेबाजी करना चाहता हूं.’
'चाहता हूं कि मेरा बल्ला बोले'
इशान के लिए मैच में मिले मौके का फायदा उठाना महत्व रखता है. उन्होंने कहा, ‘यह एक ऐसा मौका है जब आपको बड़ा स्कोर बनाने की जरूरत होती है क्योंकि आपको अपनी क्षमता दिखाने के लिए सिर्फ एक या दो मैच मिलेंगे. बड़ा खिलाड़ी ऐसे ही निकलता है, जो मौका मिलता है उसे भुना लेता है.’
इशान को इस बात की कोई परवाह नहीं कि उन्हें जनवरी में भारत के अगले एकदिवसीय में मौका मिलेगा या नहीं. उन्होंने कहा, ‘मैं इस बारे में नहीं सोचता कि मैं अगला मैच खेलूंगा या नहीं. मेरा काम मौका मिलने पर अपना सर्वश्रेष्ठ देना है. मैं ज्यादा बात नहीं करता, मैं चाहता हूं कि मेरा बल्ला बोले.’
भारतीय कोच राहुल द्रविड़ भी अपने शिष्य इशान के प्रदर्शन से खुश दिखे. कोच ने पारी के बाद उन्हें गले लगाया. उन्होंने कहा, ‘वह (द्रविड़) बहुत खुश थे क्योंकि वह जानते है कि एक खिलाड़ी को सिर्फ एक मौका चाहिए.’
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