तेलंगाना हाईकोर्ट ने हैदराबाद क्रिकेट एसोसिएशन को आदेश दिया है और कहा है कि पूर्व भारतीय क्रिकेटर मोहम्मद अजहरुद्दीन का नाम उप्पल के राजीव गांधी इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम के नॉर्थ स्टैंड से नहीं हट सकता है. कोर्ट का ये ऑर्डर ऐसे समय में आया है जब हैदराबाद क्रिकेट एसोसिएशन के न्यायमूर्ति ईश्वरैया ने पिछले हफ्ते ये ऑर्डर दिया था कि अजहरुद्दीन का नाम स्टैंड से हट जाना चाहिए.
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एचसीए के एथिक्स ऑफिसर के रूप में कार्यरत न्यायमूर्ति वी ईश्वरैया ने एचसीए की सदस्य यूनिट लॉर्ड्स क्रिकेट क्लब के जरिए प्रस्तुत याचिका के बाद इस महीने की शुरुआत में यह फैसला लिया था. याचिका में अजहरुद्दीन पर पूर्व एचसीए अध्यक्ष के रूप में अपने पद का गलत इस्तेमाल करके मनमाने फैसले लेने का आरोप लगाया गया था.
मोहम्मद अजहरुद्दीन ने की थी शिकायत
लॉर्ड्स क्रिकेट क्लब की याचिका में दावा किया गया है कि पूर्व भारतीय कप्तान ने दिसंबर 2019 में एक प्रस्ताव को सुरक्षित करने के लिए पूर्व अध्यक्ष के रूप में परिषद की बैठक में भाग लेकर एचसीए के नियमों का उल्लंघन किया, जबकि एसोसिएशन के प्रमुख की भूमिका संभालने के एक महीने बाद ही उन्होंने नॉर्थ स्टैंड का नाम अपने नाम पर रख लिया था. अजहरुद्दीन ने 20 अप्रैल को इस फैसले के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की और नॉर्थ स्टैंड से उनका नाम हटाने के लोकपाल के आदेश पर रोक लगाने की मांग की.
अजहरुद्दीन ने आदेश पर सवाल उठाते हुए कहा कि लोकपाल का कार्यकाल 18 फरवरी, 2025 को समाप्त हो गया था और उनके जरिए लिया गया कोई भी आदेश अमान्य माना जाना चाहिए. अजहरुद्दीन ने मीडिया से कहा, "मैं निश्चित रूप से कानूनी सहारा लूंगा और इस आदेश पर रोक लगाने के लिए उच्च न्यायालय में अपील करूंगा. यह शर्म की बात है कि एक भारतीय कप्तान का नाम हटाने के लिए कहा जा रहा है."
बता दें कि, अजहरुद्दीन ने 1985 से 2000 तक 99 टेस्ट और 334 वनडे खेले और 29 शतकों और 79 अर्द्धशतकों के साथ 15,593 रन बनाए.
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