लखनऊ सुपर जायंट्स के कप्तान ऋषभ पंत ने पंजाब किंग्स से 37 रन की बड़ी हार के बावजूद हिम्मत नहीं हारी और कहा कि, उनकी टीम का प्लेऑफ में पहुंचने का सपना ‘अभी भी जिंदा’ है. फ्रेंचाइज के डेब्यूटेंट पेसर आकाश सिंह और स्पिनर दिग्वेश सिंह राठी के दो-दो विकेट के बावजूद एलएसजी ने पहली पारी में 236/5 का विशाल स्कोर बनाया. जवाब में, लखनऊ के टॉप तीन बल्लेबाज 29 रन पर चलते बने वहीं पंत ने चौथे नंबर पर सिर्फ 18 (17) रन बनाए. हालांकि लखनऊ के लिए सिर्फ एक खिलाड़ी ने जंग लड़ी और वो थे आयुष बडोनी. इस खिलाड़ी ने 74 (40) रन ठोके.
पंत ने जब टीम के बैटिंग ऑर्डर में बदलाव को लेकर पूछा गया तो उन्होंने कहा कि, यह समझ में आता है जब आपका टॉम क्रम अच्छी बल्लेबाजी कर रहा हो. हर मैच में, आप उनसे उम्मीद नहीं कर सकते. यह खेल का हिस्सा है, हमें कभी-कभी इसे गहराई तक ले जाना पड़ता है. हमारे पास पकड़ने के लिए बहुत सारे रन थे और इससे हमें बहुत नुकसान हुआ."
बता दें कि, मैच में लखनऊ के टॉप ऑर्डर को सबसे ज्यादा नुकसान अर्शदीप सिंह की गेंदबाजी ने पहुंचाया और तीन अहम विकेट लिए. मैच के बाद बाएं हाथ के तेज गेंदबाज ने कहा, शुरुआत में गेंद हिली और मैंने इसका भरपूर फायदा उठाया." "दूसरी पारी में, परिस्थितियां ठंडी हो जाती हैं, इसलिए गेंद ज्यादा स्विंग करती है. वहीं उन्होंने जीत पर कहा कि, इससे हमें निश्चित रूप से बहुत आत्मविश्वास मिलता है, लेकिन अभी भी ऐसे चरण हैं जहां हम एक टीम के रूप में सुधार कर सकते हैं. वढेरा के मार्श के कैच पर गेंदबाज ने कहा कि, मैं बस उसे गेंद की ओर दौड़ते हुए देख रहा था और उसके पकड़े जाने की प्रार्थना कर रहा था. अगर वह रन बनाता है तो मिच एक खतरनाक खिलाड़ी है. उस बेहतरीन कैच के लिए वढेरा श्रेय जाता है.