हर्ष दुबे ने रचा इतिहास, रणजी ट्रॉफी के एक सीजन में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले बने गेंदबाज, पिता के एक गलत टर्न ने बनाया क्रिकेटर, अश्विन का भी हाथ

हर्ष दुबे ने रचा इतिहास, रणजी ट्रॉफी के एक सीजन में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले बने गेंदबाज, पिता के एक गलत टर्न ने बनाया क्रिकेटर, अश्विन का भी हाथ
विकेट लेने के बाद जश्न मनाते हर्ष दुबे

Story Highlights:

हर्ष दुबे ने इतिहास रच दिया है

विदर्भ के इस गेंदबाज ने रणजी के एक सीजन में सबसे ज्यादा विकेट लेने का कारनामा किया है

विदर्भ के लेफ्ट आर्म स्पिनर हर्ष दुबे ने इतिहास रच दिया है. ये गेंदबाज अब रणजी ट्रॉफी इतिहास में एक सीजन में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाला गेंदबाज बन गया है. केरल के खिलाफ नागपुर स्टेडियम में खेले जा रहे फाइनल मुकाबले में उन्होंने ये कमाल किया है. विदर्भ की टीम ने पहली पारी में 379 रन ठोके. ऐसे में गेंदबाजी करने उतरे हर्ष ने जैसे ही तीसरा विकेट लिया और नीधीष को आउट किया, उन्होंने इतिहास बना दिया. तीसरे दिन उन्होंने ये कमाल किया. इससे पहले उन्होंने आदित्य सरवटे को 79 और सलमान निजार को आउट किया. 

सेमीफाइनल में टीम को जीत दिलाने में दुबे का सबसे बड़ा हाथ था. इस गेंदबाज ने मुंबई के खिलाफ 7 विकेट हॉल लिए थे. 22 साल के इस गेंदबाज ने साल 2022 में फर्स्ट क्लास डेब्यू किया था. ऐसे में दुबे उन 6 गेंदबाजों में शामिल हैं जिन्होंने एक सीजन में 60 विकेट लिए हैं. इसमें अमन 68 विकेट, जयदेव उनादकट 67 विकेट, बिशन सिंह बेदी 64 विकेट, कंवलजीत सिंह 62 विकेट और डोडा गणेश 62 विकेट लिए हैं.

बैटिंग में भी किया कमाल

गेंदबाजी के अलावा इस खिलाड़ी ने इस सीजन की 17 पारियों में कुल 472 रन ठोके हैं. इसमें उनके नाम 5 अर्धशतक हैं. दुबे रणजी ट्रॉफी इतिहास के चौथे खिलाड़ी हैं जिन्होंने एक सीजन में 450 से ज्यादा रन और 50 से ज्यादा विकेट लिए हैं. इंडियन एक्सप्रेस को दिए गए इंटरव्यू में दुबे में बताया था कि, एक दिन वो अपने पिता के साथ साइकिल पर जा रहे थे. उस दौरान वो चौथी क्लास में पढ़ते थे. पिता ने गलत रास्ता ले लिया. जिसके बाद वो सीधे एकेडमी पहुंच गए. इसके बाद पिता ने बताया कि यहां क्रिकेटर्स बनते हैं. तभी दुबे ने कहा कि वो भी क्रिकेट खेलना चाहते हैं.

बता दें कि दुबे ने अश्विन से भी काफी कुछ सीखा है. चेन्नई की पिचों पर अश्विन अक्सर खिलाड़ियों को ट्रेनिंग देते हैं. ऐसे में दुबे भी उनसे स्पिन की क्लास ले चुके हैं. 

67 विकेट – 16 पारी – जयदेव उनादकट (सौराष्ट्र, 2019/20)

64 विकेट – 16 पारी – बिशन सिंह बेदी (दिल्ली, 1974/75)

62 विकेट – 21 पारी – डोडा गणेश (कर्नाटक, 1998/99)

62 विकेट – 21 पारी – कंवलजीत सिंह (हैदराबाद, 1999/00)

रणजी ट्रॉफी सीजन में 450 से ज्यादा रन और 50 से ज्यादा विकेट

529 रन, 52 विकेट – सुनील जोशी (कर्नाटक, 1995/96)461 रन, 53 विकेट – गुरेंदर सिंह (मेघालय, 2018/19)
603 रन, 55 विकेट – आर संजय यादव (मेघालय, 2019/20)
472 रन, 69 विकेट – हर्ष दुबे (विदर्भ, 2024/25)*
 

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