निषाद कुमार में पेरिस पैरालिंपिक में तिरंगा लहराया दिया है. उन्होंने लगातार दूसरी बार पैरालिंपिक में सिल्वर जीता. रविवार देर रात 24 साल के भारतीय पैरा एथलीट ने मेंस हाई जम्प टी47 में 2.04 मीटर की छलांग के साथ सिल्वर हासिल किया. टोक्यो में भी उन्होंने सिल्वर जीता था. इस इवेंट का गोल्ड अमेरिका के रोडरिक टाउनसेंड ने जीता.
जब ये हादसा हुआ तब भी निषाद को दर्द की चिंता नहीं थी, बल्कि वो डॉक्टरों से पूछ रहा था कि क्या वह सेना में शामिल हो सकता है. डॉक्टर उसे निराश नहीं करना चाहते थे. पैरालिंपिक में दो पदक उसके मजबूत इरादे का सबूत हैं कि वो पदक जीतकर और तिरंगा लहराकर भारत की सेवा कर सकता है.
साल 2009 में कोच रमेश ने निषाद को एथलेटिक्स में डाला और यही से उनकी जिंदगी और उनके करियर को एक नई दिशा मिल गई. उन्होंने कभी भी खुद को दूसरे बच्चो से कम नहीं आंका और उनके साथ खेलने के लिए हमेशा ही तैयार रहते थे. साल 2017 में निषाद पंचकूला शिफ्ट हो गए थे. जहां उन्हें कोच नसीम अहमद ने ट्रेनिंग दी, जिन्होंने बाद में ओलिंपिक गोल्ड मेडलिस्ट नीरज चोपड़ा को भी कोचिंग दी थी.