टीम इंडिया के तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी को पहले 4 मैचों में मौका नहीं मिला था. लेकिन इसके बाद इस गेंदबाज ने वो रूप दिखाया कि अब दुनिया का हर बल्लेबाज शमी की गेंदों से कांप रहा है. इन सबके बीच टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सुनील गावस्कर ने स्पोर्ट्स तक को एक्सक्लूसिव तौर पर बड़ी जानकारी दी है और शमी की सफलता का सबसे बड़ा राज बताया है. कपिल देव को सुनील गावस्कर ने काफी करीब से देखा था और अब इस गेंदबाज की तुलना उन्होंने कपिल देव से ही कर दी है.
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गावस्कर ने कहा कि, मुझे पता है कि कपिल देव खुद को कैसे फिट रखते थे और शमी भी यही कर रहे हैं. शमी का प्रदर्शन इंग्लैंड के खिलाफ कमाल का रहा और इस गेंदबाज ने 4 विकेट लेकर अंग्रेजों की कमर तोड़ी दी और टीम इंडिया को 100 रन से जीत दिला दी. गावस्कर ने कहा कि, भारतीय गेंदबाज नेट्स में खुद पर ज्यादा फोकस करता है.
कपिल देव की मेहनत कर रहे हैं शमी
सुनील गावस्कर ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे मोहम्मद शमी के गांव में ट्रेनिंग की पिच उन्हें वनडे क्रिकेट टीम के अंदर और बाहर रहने के बावजूद लय हासिल करने में मदद कर रही हैं. गावस्कर ने कहा कि उन्हें लगता है कि जब नेट्स में गेंदबाजी को महत्व देने की बात आती है तो शमी थोड़े पुराने स्कूल के हैं और कपिल देव इस बात पर विशेष ध्यान देते थे कि तेज गेंदबाज नेट्स में खूब मेहनत करे, लगातार गेंदबाजी करे और फिर मैच में कमाल दिखाए और बेस्ट गेंदबाज बने.
रविवार को शमी ने तगड़ा प्रदर्शन किया और 7 ओवर में सिर्फ 22 रन देकर 4 विकेट लिए, जिसमें 2 मेडन ओवर शामिल थे. बंगाल के इस तेज गेंदबाज ने विश्व कप में अपने विकेटों की संख्या 40 पहुंचा दी है और वह भारत के प्रमुख विकेट लेने वाले जहीर खान और जवागल श्रीनाथ से सिर्फ 4 विकेट पीछे हैं. शमी ने पहले स्पैल में ही जॉनी बेयरस्टो और बेन स्टोक्स को आउट कर दिया था.
गावस्कर ने शमी को लेकर आगे कहा कि, शमी काफी ज्यादा मेहती है. जब वह घर वापस जाता है, तो जाहिर तौर पर उसके पास कई पिचें बनी होती हैं और वह वहां सिर्फ गेंदबाजी और गेंदबाजी ही करता है. यही महत्वपूर्ण है. वह अपनी फिटनेस पर ध्यान दे रहा है. उसकी खासियत क्या है? इसी को तेज गेंदबाजी है कि जहां रहो वहां बस गेंदबाजी करो. मुझे नहीं पता कि उसे जिम पंसद है या नहीं. आप पूरे दिन जिम कर सकते हैं. लेकिन दिन के अंत आपको सिर्फ गेंद फेंकनी होती है और कपिल देव भी यही किया करते थे. शमी किसी एक्सपर्ट की बात नहीं सुनते कि नेट्स में सिर्फ 15 से 20 गेंद फेंको, बल्कि उन्हें पता है कि, वो जितना दौड़ेंगे उतनी अच्छी वो गेंदबाजी करेंगे.
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