बीसीसीआई ने बीते दिन साउथ अफ्रीका के खिलाफ चार टी20 मैचों की सीरीज के लिए भारतीय टीम का ऐलान किया. चयनकर्ताओं ने यश दयाल, रमनदीप सिंह और विजयकुमार वैशाख समेत कुल तीन खिलाड़ियों को पहली बार टी20 टीम में मौका दिया. भारत के लिए हर खिलाड़ी का सपना होता है. विजयकुमार भी बचपन से ही इस सपने को देख रहे थे और जब उन्हें सपना सच होने की खबर मिली, उस वक्त वो कर्नाटक के लिए बिहार के खिलाफ अगले रणजी मैच की तैयारी कर रहे थे.
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बेंगलुरु के 27 साल के तेज गेंदबाज विजयकुमार को 8 नवंबर से साउथ अफ्रीका में शुरू होने वाली चार मैचों की सीरीज के लिए 15 सदस्यीय भारतीय स्क्वॉड में चुना गया है. अपने चयन पर वो काफी इमोशनल भी हैं. भारतीय टीम में पहली बार मौका मिलने के बाद उनका सालों से दबा दर्द भी बाहर आ गया. टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार विजयकुमार ने कहा-
मेरे पास शब्द नहीं हैं. भारतीय टीम में शामिल होना हर क्रिकेटर की चाहत होती है. ये एक सपना सच होने जैसा है.
विजयकुमार ने पिछले कुछ सालों में घरेलू क्रिकेट में शानदार प्रदर्शन किया है. ये भी काफी दिलचस्प है कि उन्होंने शुरुआत बतौर टॉप ऑर्डर बल्लेबाज की थी, मगर फिर उन्होंने तेज गेंदबाजी शुरू कर दी, मगर उनके लिए तेज गेंदबाज बनने का सफर आसान नहीं था. विजयकुमार को इसके लिए अपना वजन काफी कम करना पड़ा था. उन्होंने कहा-
लोग मुझे मोटा कहते थे और इसने मुझे कभी परेशान नहीं किया. कुछ साल पहले, मैंने खुद को आईने में देखा और मैंने एक क्रिकेटर नहीं देखा. मैंने जो देखा वो एक अधिक वजन वाला युवक था, जो अपने क्रिकेट के साथ संघर्ष कर रहा था. उस दिन, मैंने खुद को कहा कि फिटनेस ही सब कुछ है. इस पर काम करना है.
इसके बाद विजयकुमार ने अपनी फिटनेस पर जमकर काम किया. साउथ अफ्रीका में खेलने पर उन्होंने कहा-
मैंने आरसीबी के लिए सभी परिस्थितियों में गेंदबाजी की है और मैं जल्दी से खुद को ढाल लेता हूं. जब मौका मिलता है, तो मैं अपना बेस्ट देना चाहता हूं.
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