ACT 2024: भारत ने तीसरी बार जीती एशियन चैंपियंस ट्रॉफी, ओलिंपिक सिल्वर मेडलिस्ट चीन को 1-0 से धूल चटाई

युवा स्ट्राइकर दीपिका के शानदार खेल के बूते भारत ने एशियन चैंपियंस ट्रॉफी का खिताब बरकरार रखा. मेजबान ने फाइनल में ओलिंपिक सिल्वर मेडलिस्ट चीन को 1-0 से हराया.

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भारतीय महिला हॉकी टीम

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भारतीय महिला टीम ने दूसरी बार चीन को एशियन चैंपियंस ट्रॉफी में मात दी.

भारत ने 2016, 2023 के बाद तीसरी बार एशियन चैंपियंस ट्रॉफी जीती.

भारत की दीपिका ने एशियन चैंपियंस ट्रॉफी में सर्वाधिक 11 गोल किए.

युवा स्ट्राइकर दीपिका के शानदार खेल के बूते भारत ने एशियन चैंपियंस ट्रॉफी का खिताब बरकरार रखा. मेजबान ने फाइनल में ओलिंपिक सिल्वर मेडलिस्ट चीन को 1-0 से हराया. बिहार के राजगीर में खेले गए टूर्नामेंट में दीपिका ने 11वें मिनट में पेनल्टी कॉर्नर पर गोल किया और यह अंत में निर्णायक साबित हुआ. दीपिका इस टूर्नामेंट में 11 गोल के साथ सर्वाधिक गोल करने वाली खिलाड़ी रही. भारतीय टीम ने इसस पहले लीग स्टेज में चीन को 3-0 से पीटा था. भारत ने तीसरी बार एशियन चैंपियंस ट्रॉफी जीती है. इससे पहले 2016 व 2023 में वह चैंपियन बना था. भारत अब साउथ कोरिया के साथ टूर्नामेंट की सबसे सफल टीम है. दोनों ने तीन-तीन बार यह खिताब जीता. चीन तीसरी बार उपविजेता रहा है. जापान ने मलेशिया को 2-1 से हराकर तीसरा स्थान हासिल किया.

भारतीय टीम ने जबरदस्त तालमेल और संयम का परिचय देते हुए चीन पर दबदबा बनाए रखा. पहला हाफ गोलरहित रहने के बाद दूसरे हाफ के पहले ही मिनट में भारत को मिले पेनल्टी कॉर्नर पर दीपिका ने गोल करके खचाखच भरे बिहार खेल यूनिवर्सिटी स्टेडियम में मौजूद दर्शकों में उत्साह का संचार कर दिया. दूसरे हाफ के पहले ही मिनट में भारत को लालरेम्सियामी ने पेनल्टी कॉर्नर दिलाया. इस पर पहला शॉट चूक गया लेकिन गेंद सर्कल के भीतर ही थी और नवनीत की स्टिक से डिफ्लैक्ट होकर दीपिका के पास पहुंची जिसने शानदार फ्लिक से उसे गोल के भीतर डाला.

भारत के पास तीसरे क्वार्टर में बढ़त दुगुनी करने का सुनहरा मौका था लेकिन 42वें मिनट में मिले पेनल्टी स्ट्रोक पर दीपिका का शॉट चीन की गोलकीपर ने बचा लिया. भारत को चौथे क्वार्टर में भी एक पेनल्टी कॉर्नर मिला लेकिन वैरिएशन का कोई नतीजा नहीं निकला.

पहले हाफ में हालांकि भारतीय टीम आठ बार चीन के सर्कल में घुसी और चीनी टीम पांच बार ही हमले बोल सकी लेकिन उसने भारतीय खिलाड़ियों को गेंद आसानी से नहीं लेने दी. वहीं भारतीय खिलाड़ी एक बार फिर फिनिशंग टच के लिये जूझते रहे. जापान के खिलाफ सेमीफाइनल में 16 पेनल्टी कॉर्नर में से एक भी तब्दील नहीं कर सकी भारतीय टीम की कमजोरी फाइनल में पहले 30 मिनट में फिर देखने को मिली जब उसे मिले चार पेनल्टी कॉर्नर बेकार गए.

 

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