वेस्ट इंडीज क्रिकेट टीम पिछले दिनों ऑस्ट्रेलिया के सामने 27 रन पर ढेर हो गई. यह टेस्ट क्रिकेट में किसी भी टीम का दूसरा सबसे छोटा स्कोर है. इसके बाद वेस्ट इंडीज के भविष्य को लेकर नए सिरे से सवाल खड़े हो गए. इस बीच धुरंधर क्रिकेटर रहे ब्रायन लारा ने टी20 लीग्स के उभार को विंडीज क्रिकेट में गिरावट के लिए जिम्मेदार ठहराया. उनका कहना है कि अब खिलाड़ी राष्ट्रीय टीम में आकर खुद को टी20 लीग्स के लिए पेश करते हैं जबकि पहले घरेलू क्रिकेट खेलते हुए नेशनल टीम में आने की कोशिश करते थे. पिछले कुछ महीनों में आंद्रे रसेल, निकोलस पूरन से स्टार क्रिकेटर्स ने इंटरनेशनल क्रिकेट को अलविदा कह दिया जबकि ये दोनों टी20 लीग्स खेलते रहेंगे.
लारा ने 'Stick To Cricket' पॉडकास्ट पर बात करते हुए कहा कि आईपीएल और दूसरी टी20 लीग्स के चलते खिलाड़ी उनमें खेलने की तमन्ना रखते हैं और इसके लिए अपनी नेशनल टीमों को छोड़ रहे हैं. उन्होंने कहा, हमने फर्स्ट क्लास क्रिकेट खेला और हम में से कुछ ने तो वेस्ट इंडीज टीम में जगह बनाने की कोशिश के लिए काउंटी क्रिकेट तक खेला. अब हम वेस्ट इंडीज को एक ऐसे मंच के रूप में इस्तेमाल कर रहे हैं जिससे कि दुनियाभर से कॉन्ट्रेक्ट मिल सके. और यह किसी खिलाड़ी की गलती से नहीं हो रहा.
इंग्लैंड के धुरंधर ने बिग थ्री पर डाला दोष
वहीं इंग्लैंड के पूर्व क्रिकेटर डेविड लॉयड ने वेस्ट इंडीज क्रिकेट में गिरावट के लिए भारत, ऑस्ट्रेलिया, इंग्लैंड को जिम्मेदार ठहराया. उन्होंने कहा, तीन बड़े बोर्ड सारा पैसा ले जाते हैं. इंग्लैंड, ऑस्ट्रेलिया, भारत को पैसा मिलता है. उनके पास बड़ी ब्रॉडकास्ट डील हैं. बराबरी का वितरण होना चाहिए जिससे कि वेस्ट इंडीज, न्यूजीलैंड, श्रीलंका जैसी टीमें मुकाबला कर सके.
वेस्ट इंडीज क्रिकेट कई सालों से खराब दौर से गुजर रहा है. टीम 2023 वनडे वर्ल्ड कप भी नहीं खेल पाई थी. वह क्वालिफाइंग टूर्नामेंट में हार गई थी. साथ ही 2022 टी20 वर्ल्ड कप के शुरुआती राउंड से ही बाहर हो गई थी. इस बीच कई बड़े सितारे वेस्ट इंडीज के लिए खेलने से इनकार करते रहे हैं. इससे भी टीम की उम्मीदों पर विपरीत असर पड़ा.