IND vs ENG: 'पक्षपात और करप्शन...', हर्षित राणा को सब्सटीट्यूट बनाने पर इंग्लिश मैच रेफरी का ICC पर हमला, IND vs ENG टी20 में नया बखेड़ा

आईसीसी मैच रेफरी और पूर्व क्रिकेटर क्रिस ब्रॉड भी कन्कशन सब्सटीट्यूट में कूद पड़े हैं. उन्होंने तो पक्षपात और भ्रष्टाचार के आरोप जड़ दिए. साथ ही जवागल श्रीनाथ को भी घेर लिया.

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हर्षित राणा ने कन्कशन सब्सटीट्यूट के तौर पर टी20 डेब्यू किया.

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भारत और इंग्लैंड के बीच पुणे टी20 में शिवम दुबे की जगह हर्षित राणा को कन्कशन सब्सटीट्यूट बनाया गया था.

कई दिग्गजों ने हर्षित राणा को कन्कशन सब्सटीट्यूट बनाने पर सवाल उठाए.

इंग्लैंड के पूर्व कप्तान माइकल वॉन ने कहा कि भारत पुणे में 12 खिलाड़ियों के साथ खेला था.

भारत और इंग्लैंड के बीच टी20 सीरीज के दौरान कन्कशन सब्सटीट्यूट को लेकर हुए विवाद कम होता नहीं दिख रहा. इंग्लिश कप्तान जॉस बटलर ने पुणे मुकाबले के बाद इस पर तीखा जवाब दिया था. साथ ही माइकल वॉन, केविन पीटरसन जैसे पूर्व क्रिकेटर्स ने भी सवाल उठाए थे. अब आईसीसी मैच रेफरी और पूर्व क्रिकेटर क्रिस ब्रॉड भी इस मामले में कूद पड़े हैं. उन्होंने तो पक्षपात और भ्रष्टाचार के आरोप जड़ दिए. 

क्रिस ब्रॉड ने भारत और इंग्लैंड के बीच पुणे टी20 में शिवम दुबे की जगह हर्षित राणा को कन्कशन सब्सटीट्यूट बनाने पर प्रतिक्रिया दी. उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, 'इस तरह की स्थितियों को रोकने के लिए निष्पक्ष मैच अधिकारियों की नियुक्ति शुरू हुई थी. आईसीसी फिर से पक्षपात और करप्शन के पुराने तरीकों पर क्यों लौट रहा है.' 

क्रिस ब्रॉड ने श्रीनाथ को लपेटा

 

ब्रॉड ने एक खेल वेबसाइट के ट्वीट पर जवाब देते हुए आगे लिखा, 'हां पूरी तरह से सहमत हूं. एक भारतीय मैच रेफरी भारतीय रिप्लेसमेंट देने के बाद बच कैसे सकता है? पक्षपात को रोकने के लिए निष्पक्ष मैच अधिकारी होने चाहिए.' हालांकि ब्रॉड भी मई 2024 में पाकिस्तान के खिलाफ इंग्लैंड की टी20 सीरीज के दौरान मैच रेफरी थे. ब्रॉड ने अभी तक 622 मैचों में रेफरी की जिम्मेदारी संभाली है. वे इस मामले में रंजन मदुगले (798) और जेफ क्रो (656) के बाद तीसरे नंबर पर हैं. 

भारत और इंग्लैंड के बीच पुणे टी20 में शिवम दुबे को आखिरी ओवर में सिर पर गेंद लगी थी. इसके बाद हर्षित राणा कन्कशन सब्सटीट्यूट के तौर पर खेलने उतरे थे. उन्होंने तीन विकेट लिए भारत को मैच व सीरीज जिताने में अहम भूमिका निभाई. बाद में कई लोगों ने कहा कि एक ऑलराउंडर की जगह स्पेशलिस्ट तेज गेंदबाज को रिप्लेसमेंट बनने की अनुमति देना सही नहीं था. हालांकि आईसीसी नियमों के मुताबिक जिस खिलाड़ी के सिर पर गेंद लगी हो उसकी जगह समान योग्यता रखने वाले खिलाड़ी को कन्क्शन की स्थिति में उतारा जा सकता है.

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