मयंक रावत और सिमरजीत सिंह के दम पर ईस्ट दिल्ली राइडर्स दिल्ली प्रीमियर लीग की पहली चैंपियन बन गई है. फाइनल में ईस्ट दिल्ली ने साउथ दिल्ली सुपरस्टार्ज को रोमांचक मुकाबले में तीन रन से हरा दिया. साउथ दिल्ली के प्रियांश आर्य और आयुष बडोनी फाइनल में फेल रहे. फाइनल में दोनों में से किसी का भी बल्ला नहीं चल पाया. पहले बैटिंग करते हुए ईस्ट दिल्ली ने 20 ओवर में 184 रन का टारगेट रखा था, जिसके जवाब में साउथ दिल्ली 9 विकेट पर 180 रन ही बना पाई.
पहले बैटिंग करने उतरी ईस्ट दिल्ली राइडर्स की शुरुआत काफी खराब हुई थी. राइडर्स ने अपने अहम बल्लेबाज जल्दी गंवा दिए थे. अनुज रावत 10 रन, सुजल सिंह पांच रन, कप्तान हिम्मत सिंह 20 रन पर पवेलियन लौट गए थे. राइडर्स ने एक समय 10 ओवर में ही अपने चार विकेट 69 रन के भीतर गंवा दिए थे. इसके बाद मयंक रावत ने दिखाया कि आखिर क्यों उन्हें दिल्ली क्रिकेट में मिनी वीरेंद्र सहवाग के नाम से जाना जाता है. उन्होंने 39 गेंदों में नॉटआउट 78 रन ठोके. जिसमें सात चौके और छह छक्के लगाए. वो आखिर तक क्रीज पर टिके रहे.
बडोनी के ओवर में 5 छक्के
पारी का आखिरी ओवर मैच का सबसे बड़ा टर्निंग पॉइंट साबित हुआ. कप्तान बडोनी खुद गेंदबाजी के लिए आए और उनके ओवर में रावत ने पांच छक्के लगाकर 30 रन जोड़ लिए. आखिरी ओवर के दम पर राइडर्स की टीम सुपरस्टार्ज को 184 रन का टारगेट देने में सफल रही.
सुपरस्टार्ज की शुरुआत भी काफी खराब रही. ऑरेंज कैप जीतने वाले प्रियांश आर्य दो गेंदों पर महज छह रन बनाकर आउट हो गए. आखिरी ओवर की पिटाई के बाद जब कप्तान आयुष बडोनी क्रीज पर आए तो उनका आत्मविश्वास काफी डगमगाया हुआ नजर आया. 225 की स्ट्राइक रेट से बैटिंग करने वाले बडोनी महज सात रन ही बना पाए. सिमरजीत ने उनका शिकार किया.
आखिरी ओवर का रोमांच
साउथ दिल्ली सुपरस्टार्ज एक छोर पर लड़खड़ा गई थी तो दूसरे दोर पर तेजस्वी दहिया ने तेज बैटिंग शुरू की और 68 रन जमाए, जिसमें सात चौके और 4 छक्के शामिल है. वो राइडर्स और उसकी जीत के बीच में आकर खड़े हो गए, मगर फिर सिमरजीत ने तेजस्वी को पवेलियन भेजकर राइडर्स की जीत लगभग तय कर दी. दिग्वेश राठी ने मैच को बदलने की काफी कोशिश की, मगर रौनक आखिरी गेंद पर चार रन डिफेंड करने में कामयाब रहे और इसी के साथ ईस्ट दिल्ली राइडर्स ने इतिहास रच दिया. सिमरजीत सिंह ने चार ओवर में 33 रन देकर तीन बड़े विकेट लिए.
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