विनेश फोगाट ने संन्यास का ऐलान कर दिया. ओलिंपिक गोल्ड के करीब पहुंचने के बाद डिस्क्वालीफाई होने से वो इतनी ज्यादा निराश और दर्द में हैं कि उन्होंने गुरुवार को अपनी जिंदगी का सबसे बड़ा फैसला ले लिया. विनेश ने माफी मांगते हुए गुरुवार की सुबह कुश्ती छोड़ने का ऐलान कर दिया. उन्होंने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट करके रिटायरमेंट ऐलान किया. 32 शब्दों के इस पोस्ट में भारतीय स्टार का दर्द हर कोई महसूस कर सकता है. उनके वो 32 शब्द किसी भी भारतीय का दिल छलनी कर सकता है. उन्होंने अपनी मां और पूरे देश से माफी मांगी. उन्होंने कहा कि वो हार चुकी हैं. उनसे कुश्ती जीत चुकी है. विनेश ने कहा कि गोल्ड का सपना टूटने के साथ उनकी हिम्मत भी टूट चुकी है.
दरअसल विनेश विमेंस 50 किग्रा वेट कैटेगरी के फाइनल में पहुंच गई थी. फाइनल में पहुंचने से पहले उन्होंने जापान, यूक्रेन और क्यूबा की तीन दिग्गज पहलवानों को धूल चटा दी थी. फाइनल में उन्हें अमेरिका की सारा से भिड़ना था. मुकाबला भारतीय समयानुसार सात अगस्त को रात में खेला जाना था, मगर सात अगस्त की सुबह विनेश के साथ-साथ पूरे देश को उस समय करारा झटका लगा, जब उनका वजन 50 किग्रा की सीमा से 100 ग्राम अधिक निकला. जिसके चलते उन्होंने पेरिस ओलिंपिक से डिस्क्वालीफाई कर दिया गया.
विनेश का इमोशनल पोस्ट
इसी के साथ उनका कुश्ती में भारत को ओलिंपिक इतिहास का पहला गोल्ड दिलाने का सपना भी चकनाचूर हो गया. उनके डिस्क्वालीफाई होने से पूरा देश भी सदमे में हैं. विनेश ने इस झटके के बाद गुरुवार की सुबह संन्यास का ऐलान कर दिया. उन्होंने सोशल मीडिया पर कहा-
मां कुश्ती मेरे से जीत गई. मैं हार गई. माफ करना. आपका सपना, मेरी हिम्मत सब टूट चुके. इससे ज्यादा ताकत नहीं रही अब. अलविदा कुश्ती 2001-2024. आप सबकी हमेशा ऋणी रहूंगी माफी.
सिल्वर मेडल के लिए अपील
पेरिस ओंलिपिक से डिस्क्वालीफाई होने के बाद विनेश को अब सिल्वर मेडल भी नहीं मिलेगा, जो उन्होंने फाइनल में पहुंचने के साथ ही पक्का कर लिया था. उन्होंने अब कोर्ट ऑफ अर्बिट्रेशन से अपील की है. उनका कहना है कि वो सिल्वर मेडल की हकदार हैं.
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