भारत की सुशीला देवी (Shushila Devi) ने सोमवार को उस वक्त कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 (CWG 2022) में झंडा फहराया जब उन्होंने जूडो में भारत के लिए सिल्वर मेडल (Silver Medal) जीता. सुशीला यहां 48 किलो कैटेगरी में हिस्सा ले रही थीं. उन्होंने साउथ अफ्रीकी खिलाड़ी के खिलाफ शानदार खेल दिखाया लेकिन वो फाइनल राउंड में चूक गईं. अफ्रीकी खिलाड़ी ने कमाल का मूव दिखाते हुए सुशीला को पकड़ लिया. हालांकि अब सुशीला ने स्पोर्ट्स तक से एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में इस बात का खुलासा किया है कि, आखिर वो क्यों बैकफुट पर आ गईं थीं.
ADVERTISEMENT
चोट के कारण सुशीला को हुई परेशानी
सुशीला ने कहा कि, चोट के चलते उन्हें काफी दिक्कत हुई नहीं तो वो गोल्ड मेडल जीत जाती. उन्होंने कहा कि, जब मैं कॉमनवेल्थ गेम्स के लिए आई. मेरा लक्ष्य गोल्ड मेडल ही था क्योंकि मैंने ग्लासगो में भी साल 2014 में सिल्वर मेडल जीता था. मैं इस बार गोल्ड इसलिए भी जीतना चाहती थी क्योंकि इस बार मेरे पास अनुभव था. लेकिन मेरी चोट ने मुझे पीछे ढकेल दिया और मैं अपना 100 प्रतिशत नहीं दे पाई.
सुशीला से जब उनके पैरों पर लगे टांके को लेकर पूछा गया तो उन्होंने कहा कि, इससे मुझे कोई फर्क नहीं पड़ रहा था क्योंकि मैं सिर्फ मैच के बारे में सोच रही थी. मेरे दिमाग में चोट नहीं था. मुझे लगता है कि मैंने सही प्रदर्शन नहीं किया इसलिए मुझे हार मिली. सुशीला ने जूडो क्यों चुना, इसे लेकर उन्होंने ये भी बताया कि, वो अपने परिवार का ध्यान रखना चाहती हैं.
सुशीला ने बताया कि, वो इस खेल के जरिए अपने परिवार का ध्यान रखना चाहती हैं. जूडो काफी मुश्किल स्पोर्ट है जिसमें भारत को मेडल मिलना काफी मुश्किल होता है और मैं इसे ही बदलना चाहती हूं.
बता दें कि, सुशीला को फाइनल में बेहद करीबी मुकाबले में दक्षिण अफ्रीका की मिशेला वाइटबूइ ने 4.25 मिनट में हराया. चार मिनट के नियमित समय में दोनों जूडो खिलाड़ियों कोई अंक नहीं बना पाए थे. वाइटबूइ ने इसके बाद गोल्डन अंक जुटा कर मुकाबला जीत लिया.
ADVERTISEMENT