आईसीसी ने बॉर्डर गावस्कर ट्रॉफी में इस्तेमाल हुई पिच की रेटिंग जारी कर दी है. इस दौरान ढाई दिन में खत्म होने सिडनी टेस्ट की पिच की पिच को लेकर आईसीसी ने बड़ा फैसला सुनाया है.भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेली गई पांच मैचों की सीरीज मेजबान ने 3-1 से अपने नाम की और इसी के साथ 10 साल बाद इस ट्रॉफी को अपने नाम किया.
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भारत के साथ सिडनी में जीत दर्ज करके सीरीज की हार से बचने का मौका था, मगर ढाई दिन में खत्म हुआ ये मुकाबला अीम इंडिया ने छह विकेट से गंवा दिया.सिडनी की पिच को लेकर काफी बवाल भी मचा. स्टीव स्मिथ ने भी मैच के बाद कहा था कि उन्होंने अपने करियर में इतनी घास वाली सिडनी की पिच पर कभी बल्लेबाजी नहीं की थी.
सिडनी को मिली ये रेटिंग
अब आईसीसी ने भी पिच की रेटिंग जारी कर दी है. आईसीसी ने जहां पर्थ, एडिलेड, ब्रिस्बेन और मेलबर्न की पिच को सर्वश्रेष्ठ रेटिंग दी है, वहीं सिडनी की पिच को औसत रेटिंग दी है. सीरीज के शुरुआती चार टेस्ट की पिच को आईसीसी ने 'very good' और सीरीज के आखिरी टेस्ट की पिच को 'satisfactory' या संतोषजनक बताया है. अगर आईसीसी Unsatisfactory या Unfit रेटिंग देता तो वेन्यू को डिमेरिट पॉइंट मिलते. सिडनी की पिच पर काफी सीम मूवमेंट ने काफी हैरान कर दिया था. सुनील गावस्कर और जस्टिन लैंगर ने पिच के असामान्य व्यवहार पर हैरानी जताई थी. पिच सीमर फ्रेंडली थी.
पूर्व भारतीय कप्तान दिलीप वेंगसरकर ने भी इस पिच की आलोचना की थी और कहा था कि वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप का आयोजन करने वाली आईसीसी को टेस्ट मैचों की पिचों की जिम्मेदारी अपने हाथ में लेनी चाहिए.जैसा वो अपने ग्लोबल सफेद गेंद टूर्नामेंटों में करती है, ताकि उन फैंस के लिए “अच्छी क्वालिटी वाली टेस्ट क्रिकेट” सुनिश्चित की जा सके, जो अभी भी टेस्ट मैच देखने के लिए उमड़ते हैं, जैसा कि ऑस्ट्रेलिया में साफ था. उनका कहना था कि सिडनी की पिच तेज गेंदबाजों के अनुकूल थी. ऐसे में बैटिंग मुश्किल थी. रन ना बनाने पर बल्लेबाजों की आलोचना करना आसान है, मगर सच्चाई ये है कि पिच खराब थी.पिच पर काफी घास थी. उनका है कि दुर्भाग्य से जसप्रीत बुमराह चोटिल हो गए थे, वरना ऑस्ट्रेलिया 162 रन का टारगेट हासिल नहीं कर पाया.
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