भारत ने इस साल रोहित शर्मा की अगुआई में टी20 वर्ल्ड कप जीता था. फाइनल में भारतीय टीम ने साउथ अफ्रीका को सात रन से मात दी. खिताबी मुकाबले के दौरान जब साउथ अफ्रीकी टीम भारत के दिए 177 रन के टारगेट के करीब बढ़ रही थी, तो उस वक्त भारतीय विकेटकीपर बल्लेबाज ऋषभ पंत को फिजियो की जरूरत पड़ी, जिसके बाद खेल का रुख ही पलट गया. एक समय हेनरिक क्लासेन अपनी टीम को खिताब दिलाते हुए नजर आ रहे थे, मगर ब्रेक के बाद उनकी लय टूट गई और अपनी टीम को जीत दिलाने से चूक गए.
ADVERTISEMENT
इस फाइनल के महीनों बाद पंत ने अपनी उस चोट को लेकर पहली बार खुलासा किया. पंत ने बताया कि उन्हें कोई चोट नहीं लगी थी. वो मैच का धीमा करने के लिए बस नाटक कर रहे थे. पंत ने स्टार स्पोर्ट्स के एक इवेंट में कहा-
मैं इस बारे में सोच रहा था, क्योंकि अचानक से मोमेंटम बदल गया था. 2-3 ओवर में बहुत सारे रन बने. मैं सोच रहा था कि ये पल जब आप वर्ल्ड कप फाइनल खेल रहे हैं (शायद फिर कभी ना आए). मैं फिजियो से कह रहा था कि आप अपना समय लें, समय बर्बाद करते रहें.
पंत ने आगे कहा-
वो मुझसे पूछ रहे थे कि क्या मैं ठीक हूं. मैंने उनसे कहा कि मैं सिर्फ नाटक कर रहा हूं. कभी-कभी मैच की ऐसी स्थिति में, मैं यह नहीं कह रहा हूं कि यह हर बार काम करता है, लेकिन कभी-कभी यह काम करता है और यदि उस पल काम करता है तो आपको और कुछ नहीं चाहिए.
पंत की इस रणनीति से भारत को फायदा भी हुआ. पंत ने जब चोट का बहाना किया, उस वक्त साउथ अफ्रीका को 30 गेंदों में 30 रन की जरूरत थी. इससे साउथ अफ्रीका के तूफानी बल्लेबाज हेनरिक क्लासेन की लय टूट गई और फिर हार्दिक पंड्या की गेंद पर आउट हो गए. इसके बाद तो विकेट गिरते रहे और पंड्या ने आखिरी ओवर में डेविड मिलर को आउट करके भारत की ऐतिाहासिक जीत की कहानी लिखी.
ADVERTISEMENT