नई दिल्ली। टीम इंडिया के साउथ अफ्रीका दौरे के शुरू होने से पहले भारतीय क्रिकेट में उथल-पुथल का दौरा जारी था. जिसमें विराट कोहली को वनडे टीम की कप्तानी से हटाए जाने के बाद बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली और विराट कोहली आमने-सामने आ गए थे. गांगुली की सभी बातो को अफ्रीका जाने से पहले प्रेसवार्ता के दौरान कोहली ने सिरे से नकार दिया था और कहा था कि उन्हें वनडे का कप्तान हटाए जाने से पहले बस एक कॉल आया था और फैसले के बारे में सूचित किया गया था. जबकि गांगुली का दावा था कि उन्होंने कोहली से पहले ही टी20 की कप्तानी न छोड़ने की सलाह दी थी जबकि बीसीसीआई ने कोहली को कप्तानी से हटाए जाने के 48 घंटे पहले सूचित कर दिया था. इस मामले पर अब टीम इंडिया के पूर्व कोच रह चुके रवि शास्त्री ने कहा कि कोहली ने अपनी स्टोरी बता दी है जबकि अब बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली को अपनी साइड की स्टोरी बतानी चाहिए.
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कोहली ने बता दी अपनी कहानी
कोहली के साथ कोचिंग करते हुए टीम इंडिया को घर से बाहर ऑस्ट्रेलिया में पहली बार टेस्ट सीरीज जिताने वाले रवि शास्त्री ने इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में कहा, "विराट ने कहानी का अपना पक्ष दिया है. अब उस कहानी का अपना पक्ष देने के लिए बोर्ड अध्यक्ष सौरव गांगुली को जरूरत है। बेहतर कयुनिकेशन और बातचीत से मामले का हल निकाला जा सकता है."
बता दें कि गांगुली ने कहा था कि टी20 टीम की कप्तानी छोड़ने के विराट के फैसले के बाद रोहित शर्मा को वनडे टीम का भी कप्तान बनाने का फैसला लिया गया, क्योंकि सीमित ओवरों के दो प्रारूपों में दो अलग-अलग कप्तान रखने की तुक नहीं है. जबकि कोहली ने इन सब बातों को नकार दिया था. साउथ अफ्रीका दौरे पर जाने से पहले विराट ने कहा कि बीसीसीआई में से किसी ने उनसे टी20 कप्तानी छोड़ने के लिए नहीं कहा था. गांगुली ने यह दावा किया था कि उन्होंने इस मसले पर कप्तान से बात की थी. उसके बाद बीसीसीआई से इस मामले पर सफाई देने की गुहार की गई. लेकिन बोर्ड ने अभी तक इस मामले पर कोई बयान नहीं दिया है.