हरमनप्रीत कौर की अगुआई वाली भारतीय टीम ने टी20 वर्ल्ड कप 2024 में ग्रुप ए के अपने तीसरे मुकाबले में श्रीलंका के खिलाफ 82 रन से बड़ी जीत हासिल की. इस जीत ने टीम के वर्ल्ड कप अभियान को मजबूती भी दी है. न्यूजीलैंड के खिलाफ पहले मैच में 58 रन से हार के बाद भारतीय टीम की नेट रन रेट (NRR) काफी गिर गई थी. पाकिस्तान के खिलाफ करीबी अंतर से जीत के बाद भी इसमें ज्यादा सुधार नहीं हुआ, मगर लेकिन श्रीलंका के खिलाफ जीत के बाद टूर्नामेंट में रनों के मामले में सबसे बड़ी जीत के बाद टीम इंडिया की रन रेट -1.217 से उछलकर +0.576 हो गई है.
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नेट रन रेट सुधरने के बाद टीम के सेमीफाइनल में पहुंचने की उम्मीद और मजबूत हुई है, मगर बाहर होने का खतरा अभी टला नहीं हैं. अंतिम चार के लिए क्वालिफाई करने के लिए भारत को अपने आखिरी ग्रुप स्टेज मैच में ऑस्ट्रेलिया को हर हाल में हराना होगा.
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ जीत जरूरी
भारत को सेमीफाइनल में पहुंचने के लिए ऑस्ट्रेलिया को हराना होगा और उम्मीद करनी होगी कि न्यूजीलैंड और पाकिस्तान दोनों अपने बचे हुए दो मैचों में से कम से कम एक मैच हार जाए. तब भारत रन रेट पर बिना निर्भर हुए अंकों के आधार पर क्वालीफाई कर जाएगा. ऑस्ट्रेलिया के अपने बचे हुए दोनों मैच हारने की स्थिति में भी भारत अंकों के आधार पर सेमीफाइनल में पहुंच सकता है. ऐसी स्थिति में न्यूजीलैंड और पाकिस्तान में से कोई एक ही टीम छह अंक हासिल कर सकती है.
यदि भारतीय टीम अपने आखिरी लीग मैच में ऑस्ट्रेलिया को हरा देता है, तो ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड के छह अंकों के साथ त्रिकोणीय मुकाबला होने की संभावना है.
न्यूजीलैंड का खतरा
वहीं अगर भारत डिफेंडिंग चैंपियन ऑस्ट्रेलिया को मामूली अंतर से हराता है तो न्यूजीलैंड के लिए मुकाबला रोमांचक हो जाएगा. ऐसे में न्यूजीलैंड को भारत के नेट रन रेट से आगे निकलने के लिए श्रीलंका और पाकिस्तान के खिलाफ अपने बचे हुए दो मैच लगभग 38 रनों के संयुक्त अंतर से जीतने होंगे. अगर भारत 10 रनों के अंतर से जीतता है तो यह संयुक्त अंतर लगभग 48 रनों का हो जाएगा. न्यूजीलैंड के पास पाकिस्तान के खिलाफ आखिरी लीग मैच खेलने का फायदा है और तब तक उन्हें सटीक समीकरण पता चल जाएग.
भारत ऑस्ट्रेलिया से हारने पर भी चार अंकों के साथ सेमीफाइनल के लिए क्वालीफ़ाई कर सकता है, बशर्ते पाकिस्तान और न्यूजीलैंड दोनों अपने बचे हुए मैचों में से कम से कम एक हार जाए. भारत को भी ये सुनिश्चित करने की जरूरत होगी कि हार का अंतर जितना संभव हो उतना कम हो. फिर ग्रुप ए की दूसरी सेमीफाइनलिस्ट टीम का फैसला नेट रन रेट के आधार पर होगा.