युवा भारतीय बल्लेबाज वैभव सूर्यवंशी घरेलू क्रिकेट में टीम बदल सकते हैं. वे बिहार से आते हैं लेकिन यहां के हालात को देखते हुए वे किसी दूसरे राज्य की तरफ से खेलने की तरफ देख रहे हैं. सूर्यवंशी ने हाल ही में भारत अंडर 19 और ऑस्ट्रेलिया 19 टेस्ट सीरीज में हिस्सा लिया था. यहां पर पहले टेस्ट में उन्होंने शतक ठोककर इतिहास रचा था. वे सबसे कम उम्र में इंटरनेशनल सेंचुरी लगाने वाले वाले बल्लेबाज हैं. चेन्नई में खेले गए पहले यूथ टेस्ट में 62 गेंद में 104 रन की पारी के जरिए उन्होंने यह कमाल किया था. 13 साल का यह बल्लेबाज अभी चेन्नई में है.
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रणजी ट्रॉफी शुरू हो चुकी है और बिहार अपना पहला मैच हरियाणा से खेल रहा है. सूर्यवंशी को इस मैच के लिए नहीं चुना गया. वे दूसरे मैच की स्क्वॉड में नहीं है. बिहार क्रिकेट एसोसिएशन का कहना है कि सूर्यवंशी दूसरे राउंड के मैच के लिए कोलकाता में टीम के साथ होंगे और चयन के लिए उपलब्ध रहेंगे. दी इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट में कहा गया है कि तमिलनाडु क्रिकेट एसोसिएशन की पहली डिवीजन के टॉप क्लब इस बल्लेबाज के संपर्क में है. वे उन्हें साइन करने के इच्छुक हैं. सूर्यवंशी भी बदलाव के लिए अपने विकल्प देख रहे हैं.
वैभव सूर्यवंशी के कोच ने बताई बिहार छोड़ने की वजहें
दी इंडियन एक्सप्रेस से सूर्यवंशी के कोच मनोज ओझा ने कहा, 'बिहार अच्छे क्रिकेटर्स के लिए सही जगह नहीं है. किसी को परवाह नहीं है. बीसीसीआई ने भी इसके बारे में सोचना छोड़ दिया. हर गुजरते दिन के साथ यहां मुश्किल हो रही है. एक कोच के रूप में मैं चाहूंगा कि वह दूसरे राज्य के लिए खेलने के लिए तुरंत बिहार छोड़ दे. मैं चाहता हूं कि बड़ी रणजी टीमें उसे मौका दे और उसे इन्हें लेना चाहिए. उसे ऐसे राज्य के लिए खेलना चाहिए जहां उसे तैयार किया जा सके, जहां उसकी देखभाल हो. वीवीएस लक्ष्मण उसे काफी ऊपर आंकते हैं.'
मनोज ओझा ने बताया कि उन्होंने तीन साल पहले सूर्यवंशी के पिता संजीव सूर्यवंशी से झारखंड शिफ्ट होने को कहा था. लेकिन वह इतना खर्चा नहीं उठा सकते. सूर्यवंशी के पिता ने कहा कि वे अच्छा क्लब तलाश रहे हैं. उसे भारतीय टीम में खेलते हुए देखने का लक्ष्य है. उसने कड़ी मेहनत की है.